Tuesday 13 August 2013

नन्हा सा धागा

Photo: "आप सभी को धागे का ये त्योहार सुन्दर भावनाओं के साथ मुबारक ----------

रेशम का नन्हा सा धागा , नेह , मेह बरसाए 
अक्षत ,रोली का थाल सजाये ,बहन खड़ी इतराए 
मस्तक पर नन्हा सा टीका ,भाई का मान बढाए 
धागा भी सज उठा कलाई पर ,अंतर भीगा जाए 
बचपन की स्म्रतियां मन में ,नयी उमंग जगाएं
उस अंगना की बिसरी यादें ,दिल - दिमाग पर छायें 
घेवर की मिठास घुल गयी ,भाई बहन के प्यार में 
भावनाओं का वेग उमड़ता अपने इस त्यौहार में 
सम्मान बनाए इसका रखना ,स्नेह सूत्र को पकडे रखना
ये रिश्ता मज़बूत बनाए ,आओ भाई को गले लगाएं ...........:)"

रेशम का नन्हा सा धागा , नेह , मेह बरसाए
अक्षत ,रोली का थाल सजाये ,बहन खड़ी इतराए

मस्तक पर नन्हा सा टीका ,भाई का मान बढाए
धागा भी सज उठा कलाई पर ,अंतर भीगा जाए

बचपन की स्म्रतियां मन में ,नयी उमंग जगाएं
उस अंगना की बिसरी यादें ,दिल - दिमाग पर छायें

घेवर की मिठास घुल गयी ,भाई बहन के प्यार में

भावनाओं का वेग उमड़ता अपने इस त्यौहार में

सम्मान बनाए इसका रखना ,स्नेह सूत्र को पकडे रखना
ये रिश्ता मज़बूत बनाए ,आओ भाई को गले लगाएं ........


'आज़ादी की कहानी'


तलवार ,खडग ,बन्दूक चली ,चली तोप की पिचकारी 
बजा युद्ध का बिगुल , 'मनु ' के साथ कड़ी हुई 'झलकारी' 
मंगल पांडे की चिंगारी ,भड़की शोला बनकर
कफ़न बाँध चल पड़े दीवाने , भगवा वस्त्र पहन कर

युवा रक्त हिलौरे मारे , सीने में जलते अंगारे
कलम हाथ ले खड़े हो गए ,उठ समाज के लेखक सारे
हर तहरीर जोश बढाए ,युवा पग अब रूक ना पाए
२०० साल नरक है भोगा , अब तो इनको जाना होगा

सूली बने पेड़ के डाले , हँस -हँस झूल पड़े मतवाले
चौरा -चौरी और काकोरी जैसे ज़ख्म उन्हें दे डाले
नहा लहू से जलियाँ वाला ,रक्तिम एक इतिहास लिख गया
जार -जार रोया था हर दिल ,मर्म सभी का वो छू गया

बना साक्षी काला पानी , असंख्य वीरो की कुर्बानी
अमानवीय था जो सह आया , सावरकर सा अमर बलिदानी
असहनीय था जो सहते थे , आँखों में सपने रहते थे
पार हदें क्रूरता करती ,मानवता सिसकी थी भरती

सेलुलर बना पांचवां धाम ,
..नत मस्तक हर हिन्दुस्तानी ,करता है दिल से सम्मान
खो गए अनेक इतिहास में , आ नहीं सके प्रकाश में
कम नहीं उनका योगदान , आओ करें मिल उन्हें सलाम

आखिर एक सुबह वो आई , आज़ादी की खुशबू लाई
'यूनियन जैक' परास्त हो गया ,भारतीय ध्वज ने विजय पायी
फहर तिरंगा लाल किले पर ,आसमान में लहराया
धुन बज उठी राष्ट्र गान की, जज्बे से सबने गाया

किया सामना बंटवारे का , खंडित होते भाई चारे का
हे तिरंगे तुझे सलाम , हर बलिदानी का मान
धूमिल न हो पाए आज़ादी , हर पीढ़ी का है ये काम ...........जय हिंद